संगमरमर के महल में तेरी तस्वीर सजाऊंगा,
अपने इस दिल में तेरे ही ख्वाब जगाऊंगा,
यूँ एक बार आजमा के देख तेरे दिल में बस जाऊंगा,
मैं तो प्यार का हूँ प्यासा तेरे आगोश में मर जाऊॅंगा.
कब तक वो मेरा होने से इंकार करेगा,
खुद टूट कर वो एक दिन मुझसे प्यार करेगा,
इश्क़ की आग में उसको इतना जला देंगे,
कि इज़हार वो मुझसे सर-ए-बाजार करेगा.
अपने इस दिल में तेरे ही ख्वाब जगाऊंगा,
यूँ एक बार आजमा के देख तेरे दिल में बस जाऊंगा,
मैं तो प्यार का हूँ प्यासा तेरे आगोश में मर जाऊॅंगा.
कब तक वो मेरा होने से इंकार करेगा,
खुद टूट कर वो एक दिन मुझसे प्यार करेगा,
इश्क़ की आग में उसको इतना जला देंगे,
कि इज़हार वो मुझसे सर-ए-बाजार करेगा.